आज जयपुर ग्रामीण जिले में तिल का मंडी भाव - सभी मंडियां



नमस्कार दोस्तों, मंडी भाव इंडिया में आपका स्वागत है। इस पेज पर आपको आज राजस्थान राज्य के जयपुर ग्रामीण जिले में तिल के मंडी भाव की जानकारी मिलेगी। हमारे यहाँ पर आप राजस्थान की सभी बड़ी व छोटी मंडी में सभी प्रकार के फल, सब्ज़ी, एवं अनाज के भाव की जानकारी ले सकते हैं।

जयपुर ग्रामीण में तिल मंडी भाव का सारांश

कमोडिटी Sesamum(Sesame,Gingelly,Til) तिल
औसत भाव ₹9,650 क्विंटल
न्यूनतम भाव ₹9,100 क्विंटल ( Chaksu )
अधिकतम भाव ₹10,200 क्विंटल ( Bassi )
* यह सारांश 4 मंडियो के पिछले एक सप्ताह के भाव से लिया गया है।

ताज़ा जानकारी के अनुसार, राजस्थान राज्य के जयपुर ग्रामीण जिले की मंडियो में तिल का औसतन भाव ₹9,650 /क्विंटल हैं। पिछले एक सप्ताह में सबसे कम भाव Chaksu मंडी में ₹9,100 /क्विंटल रहा, जबकि सबसे अधिक भाव Bassi मंडी में ₹10,200 /क्विंटल रहा। मंडी भाव इंडिया पर राजस्थान राज्य के जयपुर ग्रामीण जिले की 4 मंडियो के तिल के भाव दिए गये है।
ये डाटा आख़िरी बार 24 Dec 2025 को अपडेट किया गया है।

Sesame भाव

आज जयपुर ग्रामीण जिले में तिल का मंडी भाव - सभी मंडियां

कमोडिटी ज़िला मंडी तिल भाव अप्डेट
तिल जयपुर ग्रामीण (Bassi) 10200 से 10200 ₹क्विंटल 24 Dec 2025
तिल जयपुर ग्रामीण (Chaksu) 9100 से 9100 ₹क्विंटल 8 Dec 2025
तिल जयपुर ग्रामीण (Chaksu) 8500 से 8500 ₹क्विंटल 14 Oct 2025
तिल जयपुर ग्रामीण (Chaksu) 10000 से 10000 ₹क्विंटल 22 Jan 2025

Notes*

  • सभी मंडी भाव 100 किलोग्राम के हिसाब से हैं
  • भाव में परिवर्तन हो सकता है।
  • ये भाव केवल आज के मंडी बाजार की स्थिति को इंगित करती हैं

तिल एक पुष्पीय पौधा है। तिल के बीज से खाद्य तेल निकाला जाता है। तिल को विश्व का सबसे पहला तिलहन माना जाता है। इसकी खेती 5000 साल पहले शुरू हुई थी। भारत मे तिल दो प्रकार का होता है -सफेद और काला। हिन्दू धर्म मे तिल का बहुत महत्व है। पूजा में तिल के तेल का प्रयोग किया जाता है और पितरों के तर्पण में तिल का प्रयोग होता है। तिल की खेती साल में तीन बार की जा सकती है।तिल से कई प्रकार की मिठाई, गजक, लड्डू आदि बनाए जाते हैं। तिल में मिलने  वाले तत्व  विटामिन बी, कैल्शियम, लिनोलिक अम्ल और फास्फोरस पाया जाता है, जो स्वास्थ्य के लिए बहुत आवश्यक है। तिल कोलेस्ट्रोल घटाने में भी सहायक है। तिल के तेल को तेलों की रानी कहा जाता है। तिल के लिए शीतोष्ण जलवायु अच्छी रहती है। ज्यादा बरसात या सूखा पड़ने पर इसकी फसल सही नहीं होती है। इसके लिए हल्की दोमट मिट्टी अच्छी मानी जाती है। इसके अलावा इसे बलुई दोमट और काली मिट्टी में भी उगाया जा सकता है।

भारत में तिल की खेती - भारत के विभिन्न राज्यों में तिल की खेती की जाती है जैसे महाराष्ट्र,राजस्थान,पश्चिम बंगाल,आंध्र प्रदेश,गुजरात, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश,मध्य प्रदेश और तेलंगाना। तिल का सबसे अधिक उत्पादन उत्तर प्रदेश और बुंदेलखंड में किया जाता है।

तिल की उन्नत किस्मे – टी के जी 308, जवाहर तिल 306, जे टी यस 8, टी के जी 55, आर टी 46, आर टी 125 आदि तिल की कुछ उन्नत किस्मे है।

जयपुर ग्रामीण जिले में तिल, आलू, गाजर, हरी मिर्च, पत्ता गोभी, फूलगोभी, बैंगन, लौकी, भिंडी, मूली, तुरई, टमाटर, खीरा, शकरकंद, पालक, टिंडा, मटर दाना, आंवला, काकड़ी, प्याज, कद्दू, ग्वार, गेहूं, मक्का, साबुत चना दाल, साबुत मूंग दाल, सूखी मटर, मूंगफली, ज्वार, बाजरा, तिल, साबुत उरद दाल(काली दाल) , गवार बीज, साबुत अरहर दाल , मूंगफली दाने, जौ , मेथी के बीज, लोबिया , तारामीरा, नींबू, आम, ढैंचा, सरसों, गीली अदरक, , , , , आदि की बिक्री होती है। इस वेबसाइट के माध्यम से आप जयपुर ग्रामीण जिले में भाव की ताज़ा अपडेट ले सकते हैं।